रांची के रिम्स (अस्पताल) में आज बिहार के विपक्षी महागठबंधन की सियासी डील फाइनल होने के संकेत मिले है। ऐसा नहीं भी हुआ हो तो इस दिशा में गंभीर बातचीत की शुरूआत तो हो ही गई है। चारा घोटाला में सजायाफ्ता लालू प्रसाद यादव रिम्स में इलाज के सिलसिले में भर्ती हैं। लालू से शनिवार को उनके बेटे तेजस्वी यादव, राष्ट्रीय लोक समता पार्टी (रालोसपा) सु्प्रीमो उपेंद्र कुशवाहा तथा निषाद संघ के मुकेश सहनी मिलने पहुंचे। मुलाकात के बाद उपेंद्र कुशवाहा ने इसके संकेत भी दिए। माना जा रहा है विपक्षी नेताओं की लालू से इस मुलाकात में महागठबंधन की सियासत को ले बड़ा फैसला लिया गया है।
लालू से मिलने के बाद मीडिया से बातचीत में उपेंद्र कुशवाहा ने कहा कि उन्होंने राजद सुप्रीमो के स्वास्थ्य का हाल जाना। वे ठीक हैं। साथ ही कुछ सियासी बातचीत थी हुई। कुशवाहा ने कहा कि महागठबंधन के घटक दल एकजुटता से लड़ेंगे। एक-एक सीट की स्ट्रेटजी बन चुकी है। अभी सभी दलों के प्रतिनिधि नहीं हैं, इसलिए इसका खुलासा नहीं किया जा सकता। जब सभी दलों के साथी एक साथ रहेंगे तो इस बारे में जानकारी दी जाएगी।
मुकेश सहनी ने भी उपेंद्र कुशवाहा की बात दुहराते हुए कहा कि बिहार में राजग को 10 सीटें भी नहीं मिलेंगी। मुकेश के अनुसार उनके राजग छोड़ने की मूल वजह भाजपा की गंदी राजनीति रही। बिहार में निषादों को आरक्षण नहीं दिया गया। उनके अनुसार महागठबंधन के मजबूत होने से बिहार में राजग के 18 फीसद वोट घटे हैं।
